बैतूल में यूरेनियम खनन को मंजूरी, दांव पर 4000 आदिवासियों की जिंदगी

मीडिया विजिल मीडिया विजिल
पर्यावरण Published On :

A sealed and marked drilling site in Kochamau village of Betul (Photograph: Jitendra, Down To Earth)


तेलंगाना में अमराबाद टाइगर रिजर्व में यूरेनियम खनन को मंजूरी देने के बाद अब पर्यावरण मंत्रालय की वन सलाहकार समिति ने अंतरराष्ट्रीय परिदृश्य और ऊर्जा सुरक्षा का हवाला देते हुए मध्य प्रदेश के बैतूल में यूरेनियम की खोज के लिए बोरहोल की ड्रिलिंग के लिए सिफारिश की है.

वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय की वन सलाहकार समिति (एफएसी) ने वन (संरक्षण) अधिनियम, 1980 के तहत यूरेनियम और खनिजों के पूर्वेक्षण के लिए पहले चरण (स्टेज-I) में 1650 हेक्टेयर में 4 इंच व्यास वाले 300 बोरहोल की ड्रिलिंग के लिए अनुमोदन की सिफारिश की है. तय है कि परमाणु खनिज निदेशालय (AMD) के भारत के परमाणु उर्जा विभाग के लिए किये गये इस फैसले से वहां रहने वाली आदिवासी आबादी और वन्यजीवों पर इसका गहरा प्रभाव पड़ेगा.

खबर के अनुसार बीते 31 जुलाई को आयोजित एफएसी की बैठक के बाद वर्तमान अंतर्राष्ट्रीय भू-राजनीतिक परिदृश्य और ऊर्जा सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए सैद्धांतिक रूप से (स्टेज-I) अनुमोदन की सिफारिश की गई है.

दो साल पहले 17 मई, 2017 को सरकार ने 10 नए नाभिकीय संयंत्र लगाने को मंजूरी दी थी। इनमें एक बैतूल भी शामिल था। ”डाउन टु अर्थ” पत्रिका ने उस वक्‍त बैतूल से एक स्‍टोरी की थी जिसमें बताया गया था कि खनन के इलाके में तीन पंचायतों के तहत पड़ने वाले 13 गांवों के करीब 4000 आदिवासियों पर इससे प्रभाव पड़ेगा।

India’s search for uranium could displace 4,000 in 13 tribal villages of Madhya Pradesh

यह इलाका पांचवीं अनुसूची में आता है और संविधान के पेसा कानून के तहत यहां ग्राम सभा से मंजूरी के बगैर कोई भी काम नहीं किया जा सकता। यहां के गांववासियों ने बैतूल के जिलाधिकारी को एक लिखित शिकायत भी दो साल पहले दी थी जिस पर कोई कार्रवाई नहीं हुई।

फिलहाल भारत में 22 नाभिकीय ऊर्जा संयंत्र हैं जिनसे कुल बिजली का 3 फीसदी पैदा हो रहा है। सरकार की योजना इस आंकड़े को 2050 तक 25 फीसदी पर ले जाने की है।

सबसे पहले बैतूल में 2001 में यूरेनियम का पता लगाने के लिए सर्वे किए गए थे।

Regional gravity and magnetic surveys for uranium exploration over the Archaean-Proterozoic crystalline complex of Betul: Madhya Pradesh, India


Related