छत्‍तीसगढ़ : विदेशी फंड में घोटाले की मारी नर्सिंग छात्राओं की मांग CM बघेल ने मानी, वजीफा जारी

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छत्‍तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रदेश के बस्तर और सरगुजा की अनुसूचित जनजाति वर्ग की नर्सिंग कर रही छात्राओं को पिछले दो साल से छात्रवृत्ति नही मिलने की समस्या को गंभीरता से लिया है। मुख्यमंत्री के निर्देश पर तत्काल आवश्यक पहल करते हुए बस्तर और सरगुजा प्राधिकरणों से इन छात्राओं की छात्रवृत्ति के लिए कुल 51 लाख 20 हजार रूपए की राशि जारी कर दी गई है।

इससे पहले इन छात्राओं ने सोमवार 24 जून को सीएम आवास तक नौकरी और वजीफा मांगने के लिए रेंगते हुए जाने का फैसला लिया था। खबर सामने आने पर मुख्यमंत्री ने इन नर्सिंग छात्राओं की समस्याओं को गंभीरता से लिया जिसके परिणामस्वरूप छात्राओं के प्रशिक्षण के लिए बस्तर और सरगुजा विकास प्राधिकरणों से आवश्यक राशि जारी हो सकी।

उल्लेखनीय है कि यूरोपियन कमीशन की ईसीएसपीपी कार्यक्रम के तहत इन आदिवासी छात्रों को वर्ष 2016 में तत्कालीन भाजपा सरकार द्वारा नर्सिंग कॉलेजों में प्रवेश दिलाया गया था लेकिन इस फंड में घोटाले के कारण कमीशन ने इस प्रोजेक्ट को बंद कर दिया है. इसकी आड़ में भाजपा सरकार ने भी छात्रों को छात्रवृत्ति देना बंद कर दिया था, जबकि यह राशि कमीशन द्वारा पहले ही राज्य सरकार को दी जा चुकी थी.

पिछले दो साल से ये छात्राएं तत्कालीन मुख्यमंत्री रमन सिंह सहित कई मंत्रियों और अधिकारियों से मिलकर अपना दुखड़ा सुना चुकी हैं. छात्रवृत्ति नहीं मिलने के कारण प्रभावित परिवार क़र्ज़ के फंदे में फंस चुके हैं और उन्हें अपनी जमीन-जायदाद-गहने गिरवी रखने-बेचने पड़े हैं. कॉलेज प्रबंधन अनुबंध से ज्यादा फीस मांग रहे हैं और वे छात्रों की अंकसूची रोकने की धमकी दे रहे हैं.

सरकार बदलने के बाद वे मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से भी 1 मार्च को मिली थीं. उन्हें आश्वासन तो मिला, लेकिन छात्रवृत्ति नहीं. इस संबंध में तत्कालीन माकपा सांसद जीतेन्द्र चौधरी ने भी मुख्यमंत्री को पत्र लिखा था.

सरकार और अधिकारियों की संवेदनहीनता से परेशान छात्रों ने अब एक बार फिर मुख्यमंत्री से गुहार लगाने का फैसला किया था लेकिन इस बार मुख्‍यमंत्री ने पहले ही उनकी समस्‍या का निपटारा कर दिया। बस्तर क्षेत्र विकास प्राधिकरण के सदस्य सचिव और बस्तर कमिश्नर ने 22 छात्राओं के द्वितीय और तृतीय वर्ष के जी.एन.एम. प्रशिक्षण के लिए कुल 35 लाख 20 हजार रूपए स्वीकृत करते हुए राशि संयुक्त संचालक स्वास्थ्य सेवाएं बस्तर संभाग को आवंटित कर दी है.

इसी तरह सरगुजा क्षेत्र विकास प्राधिकरण के सदस्य सचिव और कमिश्नर सरगुजा द्वारा 10 आदिवासी छात्राओं के निजी प्रशिक्षण केन्द्रों में द्वितीय और तृतीय वर्ष के जी.एन.एम. प्रशिक्षण के लिए कुल 16 लाख रूपए स्वीकृत करते हुए राशि संयुक्त संचालक स्वास्थ्य सेवाएं सरगुजा संभाग को राशि का आवंटन कर दिया गया है।


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